समझौते से उद्यमियों की पूंजी से संबंधित कठिनाई होंगी दूर
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मंशा के अनुरूप एक जिला-एक उत्पाद (ओ0डी0ओ0पी0) उत्पादों की डिजाइन और पैकेजिंग को आकर्षक बनाने तथा ओ0डी0ओ0पी0 कारीगरों एवं उद्यमियों के कार्य पूंजी की कठिनाई को दूर करने के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट आफ फैशन टेक्नालाॅजी (निफ्ट), इण्डियन इंस्टीट्यूट आॅफ पैकेजिंग (आईआईपी) एवं सिडबी से शीघ्र एम0ओ0यू0 किया जायेगा। इस समझौते से जहां उद्यमियों की पूंजी से संबंधित कठिनाई दूर होगी, वहीं उत्पादों की डिजाइन और पैकेजिंग बेहतर होगी। इसके साथ ही लोकल-वोकल को ग्लोबल बनाने में सुविधा मिलेगी।
श्री सिंह ने इस होने वाले एम0ओ0यू0 की विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि समझौते के तहत निफ्ट द्वारा टेक्सटाइल्स, लेेदर एवं कारपेट बनाने वाले कारीगरों और उद्यमियों को डिजाइन की सुविधा उपलब्ध कराने के साथ ट्रेनिंग वर्कशाप भी आयोजित की जायेगी। इसके अलावा निफ्ट द्वारा ओ0डी0ओ0पी0 उत्पादों के लिए डिजाइनिंग बैंक भी डेवलप किया जायेगा। इसके माध्यम से उद्यमियों को अमेरिकन, यूरोपियन सहित अन्य अन्तर्राष्ट्रीय बाजार की मांग के अनुसार मेटेरियल, फैब्रिक, कलर तथा क्वालिटी की सुविधा उपलब्ध कराई जायेगी। इसके साथ ही उद्यमियों को ब्रांड आइडेंटिटी सहित ब्रांडिंग तथा उत्पादों के प्रमोशन की सुविधा भी दी जायेगी।एम0एस0एम0ई0 मंत्री ने बताया कि इसी प्रकार आईआईपी द्वारा ओ0डी0ओ0पी0 उत्पादों के लिए नई पैकेजिंग का डिजाइन विकसित की जायेगी। स्टेक होल्डर्स के लिए वर्कशाप-कम-टेªनिंग प्रोपोजल भी तैयार किये जायेंगे। इसके तहत उद्यमियों को 02 से 03 दिन की ट्रेनिंग दी जायेगी। साथ ही आईआईपी द्वारा ओ0डी0ओ0पी0 क्लस्टर के चिन्हांकन का कार्य भी किया जायेगा।
श्री सिंह ने बताया कि उद्यमियों की पंजीकरण से संबंधित समस्या के निदान के लिए सिडबी के साथ होने वाले समझौते के तहत एम0एस0एम0ई के विकास हेतु एक व्यापक कार्य योजना तैयार कराई जायेगी। इस कम्परहेंसिव प्लान में उद्यमियों को इक्विटी सपोर्ट, ब्याज में छूट तथा प्रभावित एम0एस0एम0ई को सहायता प्रदान करना शामिल होगा। उन्होंने बताया कि इसके अतिरिक्त एम0एस0एम0ई0 यूनिट्स को हैण्डहोल्डिंग प्रदान करते हुए उनको डिजिटल प्लेटफार्म उपलब्ध कराया जायेगा। इसके तहत 59 मिनट में ऋण की सुविधा, स्टाक एक्सचंेज में लिस्टिंग तथा ई-मार्केटिंग प्लेटफार्म की सुविधा प्राप्त होगी। उन्होंने बताया कि निर्यात को बढ़ावा देने के लिए सिडबी केस-टू-केस स्टडी करेगी और नियमित रूप से योजनाओं की माॅनीटरिंग भी की जायेगी।