लखनऊ। कोरोना संक्रमण के इस दौर में आमजन को विभिन्न सेवाओं के लिए भटकना न पड़े और सारी सेवाएं एक ही छत के नीचे उपलब्ध हो सकें, इसके लिए अब डाकघरों में भी काॅमन सर्विस सेंटर की स्थापना की जा रही है। लखनऊ जीपीओ में पायलट फेज के तहत मई में इसे आरम्भ करने के बाद अन्य प्रधान डाकघरों में भी इसे आरम्भ किया गया है। लखनऊ मुख्यालय परिक्षेत्र में जीपीओ के अलावा बाराबंकी, सीतापुर, रायबरेली, फैजाबाद, अकबरपुर प्रधान डाकघरों में काॅमन सर्विस सेंटर आरम्भ हो गए हैं। शीघ्र ही इसे एलएसजी लेवल तक के अन्य चयनित डाकघरों और चुनिन्दा शाखा डाकघरों में भी आरंभ किया जायेगा। उक्त जानकारी लखनऊ मुख्यालय परिक्षेत्र निदेशक डाक सेवाएँ कृष्ण कुमार यादव ने दी। निदेशक डाक सेवाएं कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि अब डाकघर से एक ही छत के नीचे केंद्र सरकार एवं राज्य सरकारों की पब्लिक से जुड़ी कामन सर्विस की 73 सेवाएं मिलेंगी। जन्म या मृत्यु प्रमाण पत्र हो या फिर पैन कार्ड और पासपोर्ट के लिए आवेदन, यही नहीं प्रधानमंत्री आवास योजना, पीएम फसल बीमा योजना, आयुष्मान भारत योजना के लिए आवेदन करना हो, यह सभी कार्य डाकघर में स्थापित काॅमन सर्विस सेंटर में होंगे। मोबाईल और डीटीएच रिचार्ज हों या फास्ट टैग, बिजली, पानी, टेलीफोन, गैस का भुगतान हों अथवा बस, ट्रेन और फ्लाईट की टिकट बुकिंग हों, यह सभी कार्य अब यहीं से हों सकेंगे। आई.टी रिटर्न के अंतर्गत जीएसटी रिटर्न, टीडीएस रिटर्न, डीएससी, एलएलपी रजिस्ट्रेशन की सहूलियत भी काॅमन सर्विस सेंटर में उपलब्ध होगी। इन सबके लिये ऑपरेटरों को ऑनलाइन ट्रेनिंग भी दी जा रही है, डाक निदेशक कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि, इसमें डिजिटल सेवा पोर्टल के अन्तर्गत 14, इलेक्शन पोर्टल के अन्तर्गत 5, लेबर सर्विस के अन्तर्गत 3, पेंशन सेवा के अन्तर्गत 2, एम्प्लॉयमेंट सर्विस में 3, ई-डिस्ट्रिक्ट सेवा में विभिन्न राज्य सरकारों की 16 सेवाएं, अन्य गवर्नमेंट टू कस्टमर सेवाओं में 4, टूर एवं ट्रेवल्स की 7, फास्ट टैग की 4, एजुकेशन सर्विसेज की 7, बैंकिग सेवाओं में 10, बीमा में 3, भारत बिल पेमेंट सिस्टम के माध्यम से 7 और आई.टी. रिटर्न सम्बंधित 4 सेवाएँ प्रदान की जाएँगी। इन सब सेवाओं के लिए मात्र सरकार द्वारा निर्धारित शुल्क ही लिया जाएगा। लखनऊ जी.पी.ओ के चीफ पोस्टमास्टर राम नाथ यादव ने बताया कि इस सेवा के आरंभ होने से डाकघरों में आ रहे लोग डाक सेवाओं के साथ-साथ अन्य सेवाओं का भी लाभ उठा सकेंगे। इससे लोगों के समय और संसाधन दोनों की बचत होगी।