रतन गुप्ता उप संपादक
गोरखपुर की कैंट थाना पुलिस सुबह-सुबह इंजीनियरिंग कॉलेज के पास वाहनों की चेकिंग कर रही थी, तभी एक स्विफ्ट डिजायर कार आती दिखाई दी. कार के अंदर डैशबोर्ड पर रखी पुलिस कैप को देखकर इंस्पेक्टर चौकी प्रभारी राकेश कुमार का माथा ठनका. उन्होंने कार रुकवाई तो ड्राइवर ने कहा कि वह दरोगा है. उसने यह भी कहा कि पुलिस की वर्दी भी कार में ही है. फिर आगे क्या हुआ, आइये जानते हैं…
गोरखपुर की कैंट थाना पुलिस ने चेकिंग के दौरान फर्जी दरोगा दुर्गेश कुमार पासी को किया गिरफ्तार—–
गोरखपुर की कैंट थाना पुलिस ने चेकिंग के दौरान फर्जी दरोगा दुर्गेश कुमार पासी को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार फर्जी दरोगा के पास से कार, फर्जी आई कार्ड समेत पुलिस की वर्दी भी बरामद की गई. दिलचस्प बात यह है कि पकड़ा गया फर्जी दरोग झूठी शान बनाकर लड़कीवालों को बेवकूफ बना रहा था. उसने ट्रेनिंग के नाम पर अपने ससुराल वालों से रुपये वसूल रखे थे. कैंट पुलिस ने इंजीनियरिंग कॉलेज के पास चेकिंग के दौरान फर्जी दरोगा को गिरफ्तार किया.
मामले का खुलासा करते हुए एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया है कि खजनी क्षेत्र के कदराई गांव के दुर्गेश कुमार ने अपने ससुराल वालों को बताया कि उसका चयन यूपी पुलिस में दरोगा के पद पर हुआ है. उसने सीतापुर में ट्रेनिंग करने की बात कहकर ससुराल पक्ष से पैसा वसूला और 4 महीने तक पत्नी के साथ सीतापुर में किराए के मकान में रहा. इसके बाद उसने पत्नी को बताया कि मेरी पोस्टिंग हापुड़ में हो गई है. तुम वापस घर चले जाओ. शनिवार को वह गोरखपुर पहुंचा और पुलिस की वर्दी और आई कार्ड लेकर शहर में लोगों को झांसे में लेने का प्रयास कर रहा था. उसने पुलिस को धोखा देने के लिए अपनी गाड़ी के डैशबोर्ड पर पुलिस कैप भी रखी थी. इस दौरान चेकिंग के दौरान इंजीनियरिंग कॉलेज पुलिस ने फर्जी दरोगा को गिरफ्तार कर लिया. एसपी सिटी ने खुलासे के दौरान बताया है कि आरोपी दुर्गेश कुमार गाड़ी चलाने का काम करता है.
कार के अंदर पुलिस कैप देखकर इंस्पेक्टर ने रुकवाई गाड़ी, शख्स बोला- ‘दरोगा हूं, वर्दी भी रखी है’, फिर जो हुआ…
गोरखपुर एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया, ‘आज प्रात: काल में थाना कैंट के एक इंजीनियरिंग कॉलेज के सामने चेकिंग की जा रही थी. तभी वहां से एक स्विफ्ट डिजायर गाड़ी आई. गाड़ी के डैशबोर्ड पर पुलिस कैप रखी थी. पुलिस ने गाड़ी रुकवाई. पूछताछ में पाया कि कार ड्राइवर का नाम दुर्गेश कुमार पासी है. पुलिस पूछताछ में आरोपी ने बताया कि पुलिस कैप के जरिये लोगों को झांसा देता था. 2002 में आरोपी ने अपने घरवालों को बताया था कि उसका दरोगा के पद पर चयन हो गया है और सीतापुर में ट्रेनिंग कर रहा हूं. आरोपी ने बताया कि टोल टैक्स न देना पड़े, समाज में रुतबा रहे इसलिए पुलिस की वर्दी पहनकर रौब झाड़ता था.’
एसपी सिटी ने आगे बताया, ‘आरोपी दुर्गश कुमार पासी गाड़ी चलाने का काम करता था. आरोपी के पास एक स्विफ्ट डिजायर गाड़ी, फर्जी आईडी कार्ड, यूपी पुलिस की वर्दी बरामद हुई है. आरोपी ने बताया कि पत्नी से उसने वादा किया था कि वह दरोगा बनेगा. उसने 2022 में दरोगा की परीक्षा भी दी थी लेकिन उसका सिलेक्शन नहीं हुआ था, पर आरोपी ने घरवालों को बताया कि उसका चयन हो गया है. वर्दी और आईडी कार्ड सीतापुर से खरीदा था.