रतन गुप्ता उप संपादक
महराजगंज। स्कूलों में ऑनलाइन हाजिरी व्यवस्था सोमवार से शुरू हो गई, लेकिन खामियां बातकर शिक्षक विरोध में उतर गए हैं। जिले में कहीं भी ऑनलाइन हाजिरी शिक्षकों ने नहीं भरी। प्राथमिक शिक्षक संघ से जुड़े सदस्यों ने स्कूलों में काली पट्टी बांधकर विरोध प्रकट किया। वहीं कलक्ट्रेट परिसर में राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ, उत्तर प्रदेश महिला शिक्षक संघ ने प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा। अध्यापकों का कहना है कि पहले उनकी समस्याएं दूर की जाएं फिर ऑनलाइन हाजिरी लगाएंगे।
सोमवार को लक्ष्मीपुर ब्लाॅक के कंपोजिट विद्यालय नईकोट, विशुनपुर कुर्थिया, एकमा, सोंधी, रामनगर, पैसिया ललाइन, विशुनपुर फुलवरिया आदि विद्यालयों के शिक्षकों ने हाथ में काली पट्टी बांध कर विरोध जताया। शिक्षकों की मांग है कि 30 दिवस ईएल, 15 हाफ डे लीव की व्यवस्था होनी चाहिए। यह इसलिए आवश्यक है क्योंकि परिवार या किसी परिचित में शादी विवाह या दुर्घटना के लिए शिक्षक मात्र 14 आकस्मिक अवकाश से कैसे अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर सकेंगे यह बेहद चिंतनीय है। समय से प्रमोशन व स्थानांतरण नहीं हो पा रहा है। जिसे जल्द से जल्द कराया जाए।
राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ जिलाध्यक्ष ऋषिकेष गुप्ता ने बताया कि सरकार का आदेश पूरी तरह से अव्यवहारिक है। इसके लिए शिक्षक झुकने के लिए तैयार नहीं है। सभी शिक्षक संगठनों ने पहले ही ऑनलाइन हाजिरी का विरोध की घोषणा कर दी थी। उत्तर प्रदेशीय शिक्षक संघ ब्लाॅक लक्ष्मीपुर के अध्यक्ष सुदामा चौहान ने बताया कि सभी शिक्षक हाथों पर काली पट्टी बांधकर विरोध जारी रहेगा। शिक्षकों का कहना है कि विद्यालयों में मूलभूत सुविधाओं का अभाव है। ऐसे में ऑनलाइन हाजिरी लगाना परेशानी बढ़ाएगा। ज्ञापन सौंपने के दौरान महिला शिक्षक संघ जिलाध्यक्ष वंदना त्रिपाठी, वसीमा बानो, ऋचा शुक्ला, नेहा सिंह, सरिता, गौंड़ आदि मौजूद रहे। वहीं प्राथमिक शिक्षक संघ जिलाध्यक्ष बलराम निगम, जिला मंत्री अंबरिश शुक्ला, शशिकेश, दिलीप विश्वकर्मा आदि ने ज्ञापन सौंपकर आक्रोश प्रकट किया