*रतन गुप्ता उप संपादक
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ में एक मानवीय एंगल सामने आया है. इसमें दो कुलियों ने अपनी जान की परवाह किए बिना ही लोगों की जान बचाई, कई महिलाओं को भीड़ से निकाला. चलिए जानते…और पढ़ें
‘स्टेशन पर लाशें बिखरी थीं, हमने बाहर निकाला’, भगदड़ का सच जो कोई नहीं दिखाएगा
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ में देवदूत बनकर पहुंचे ये कुली.
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर शनिवार की रात 10 बजे के करीब जब हर तरफ चीख पुखार मची हुई थी, तब कुछ लोग ऐसे भी थे, अपनी जान की परवाह किए बिना ही, लोगों की बचाने में भीड़ में कूद गए थे. जी हां सहीं, पढ़ रहे हैं आप, दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ में कुछ लोगों ने अपनी जान की बाजी नहीं लगाई होती तो आप टीवी या न्यूज में जो आंकड़े पढ़ रहे हैं वे और भी भयावह होतीं.
दरअसल, हम बात कर रहे हैं- मुनेश और अमर सिंह की. दोनों पेशे से कुली हैं. दोनों नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर रोजाना हजारों लोगों को आते जाते देखते हैं. ये रात में हुई हादसा उनके लिए काफी दिल दहलाने वाली थी. जब हादसा हुई थी, तब दोनों रेलवे स्टेशन पर ही थे. उन्होंने भगदड़ में अपनी जान की बाजी लगाई और कई लोगों को बचाया. साथ ही उन्होंने कई महिलाओं की डेड बॉडी को प्लेटफार्म से स्टेशन के बाहर ले जाने में मदद की. ऐसे जंबाज युवकों को सलाम तो बनता है.
एक अन्य कुली ने क्या बताया
रेलवे स्टेशन पर एक कुली ने न्यूज एजेंसी ANI से बात करते हुए बताया, ‘मैं 1981 से कुली का काम कर रहा हूं, लेकिन मैंने पहले कभी ऐसी भीड़ नहीं देखी. प्रयागराज स्पेशल को प्लेटफॉर्म नंबर 12 से रवाना होना था, लेकिन इसे प्लेटफॉर्म नंबर 16 पर शिफ्ट कर दिया गया. जब प्लेटफॉर्म 12 पर इंतज़ार कर रही भीड़ और बाहर से इंतज़ार कर रही भीड़ प्लेटफॉर्म 16 पर पहुंचने की कोशिश कर रही थी, तो लोग टकराने लगे और एस्केलेटर और सीढ़ियों पर गिरने लगे. भीड़ को रोकने के लिए कई कुली वहां जमा हो गए. हमने कम से कम 15 शवों को उठाकर एम्बुलेंस में डाला. प्लेटफ़ॉर्म पर सिर्फ जूते और कपड़े थे. हमने पुलिस, दमकल गाड़ियों को बुलाया और 3-4 एम्बुलेंस वहाँ पहुँचीं और लोगों को अस्पताल ले जाया गया…’
रात में मची भगदड़
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 13 और 14 पर शनिवार देर रात भगदड़ मच गई. 12 नंबर प्लेटफॉर्म से जाने वाली गाड़ी का प्लेटफॉर्म बदलकर 16 कर दिया गया. यात्रियों के बीच प्रयागराज जा रही दो ट्रेनों के रद्द होने की अफवाह फैल गई. जिसके बाद भगदड़ मच गई. इस हादसे में 18 लोगों की मौत की पुष्टि हुई, हादसे में कई लोग घायल भी हुए हैं, जिनका इलाज किया जा रहा है. हादसे के बाद रेलवे ने विशेष ट्रेनों की व्यवस्था कर प्लेटफॉर्म पर भीड़ का दबाव कम किया. रेलवे ने घटना की उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए हैं.
मुआवजे का ऐलान
भगदड़ के बाद प्रभावितों के लिए मुआवजे का ऐलान भी किया गया है. भारतीय रेलवे ने मृतकों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये, वहीं गंभीर रूप से घायल यात्रियों को 2.5 लाख रुपये और मामूली रूप से घायल यात्रियों को एक लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की है