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हुड़दंगियों के आतंक के बाद अपने हक़ के लिए सड़कों पर उतरे हिन्दू


रतन गुप्ता उप संपादक

हाल ही में बांग्लादेश में शेख हसीना की सरकार के अंत के साथ ही हिंदुओं के खिलाफ हिंसा बढ़ गई है। सरकार बदलने के बाद बांग्लादेश में हिंदू समुदाय पर हमलों की खबरें सामने आई हैं। कई जगहों पर हिंदू मंदिरों को आग के हवाले कर दिया गया, और हिंदुओं के इलाकों में तोड़फोड़ की गई। स्थिति इतनी खराब हो गई कि बांग्लादेश-भारत सीमा पर कई हिंदू परिवार शरण लेने के लिए इकट्ठा हो गए।

ढाका में बड़े प्रदर्शन

इस हिंसा के खिलाफ बांग्लादेश के हिंदू समुदाय ने शुक्रवार को राजधानी ढाका में बड़े प्रदर्शन किए। यह प्रदर्शन नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस की नई सरकार बनने के अगले दिन हुए। प्रदर्शनकारियों ने हिंदुओं को सुरक्षा देने की मांग के साथ पोस्टर लिए हुए थे और नारे लगाते हुए सड़कों पर उतरे। उनके नारे में “हम कौन हैं? बंगाली, बंगाली” शामिल था। प्रदर्शनकारियों ने राजधानी के एक प्रमुख चौराहे पर ट्रैफिक जाम कर दिया और शांतिपूर्ण तरीके से अपना विरोध दर्ज कराया।

हिंसा की स्थिति

अवामी लीग की नेता शेख हसीना के भारत भाग जाने के बाद से ही बांग्लादेश में हिंदू मंदिरों, घरों और व्यवसायों में व्यापक तोड़फोड़ शुरू हो गई है। इस हिंसा में कई हिंदू नेताओं की भी जान गई है। अवामी लीग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा कि बांग्लादेश के हिंदू 5 अगस्त से अपने व्यक्तियों, संपत्तियों और पूजा स्थलों पर हुए हमलों का विरोध करने के लिए ढाका के शाहबाग में सड़कों पर उतर आए हैं।

भारत की प्रतिक्रिया

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए प्रधानमंत्री मोहम्मद यूनुस को शुभकामनाएं देते हुए एक पोस्ट किया। मोदी ने कहा, “प्रोफेसर मोहम्मद यूनुस को उनकी नई जिम्मेदारियों के लिए मेरी शुभकामनाएं। हम हिंदुओं और अन्य अल्पसंख्यक समुदायों की सुरक्षा सुनिश्चित करते हुए सामान्य स्थिति की जल्दी वापसी की उम्मीद करते हैं। भारत शांति, सुरक्षा और विकास के लिए हमारे दोनों देशों की साझा आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए बांग्लादेश के साथ काम करने के लिए प्रतिबद्ध है।” बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हिंसा बढ़ने के बाद, राजधानी ढाका में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हुए हैं। इन प्रदर्शनों में हिंदू समुदाय की सुरक्षा की मांग की जा रही है। भारत ने बांग्लादेश के साथ शांति और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए काम करने की प्रतिबद्धता जताई है।

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