Category: विचार प्रवाह

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भारतीय लोकतंत्र की चुनावी प्रक्रिया में क्रांति की आहट है आरईवीएम

भारत की इस बड़ी पहल से दुनिया की चुनाव प्रक्रिया को एक नई रोशनी मिलेगी। इससे भारत का लोकतंत्र अधिक सशक्त, निष्पक्ष एवं प्रभावी बनकर प्रस्तुत होगा। जन प्रतिनिधित्व एवं

Interview: क्या भारत में कोरोना के नए वैरिएंट का दिखेगा असर, जानें डॉ. बच्चू सिंह का जवाब

बीएफ-7 वैरिएंट की एक खासियत है। एक से दूसरे व्यक्ति में बहुत तेजी से फैलता है। बाकी लक्षण तो सभी वायरसों में एक जैसे ही हैं, जैसे बुखार आना, सिर

Veer Baal Diwas: बलिदान को नमन व प्रेरणा लेने का दिन

साहिबजादा जोरावर सिंह और फतेह सिंह सिख धर्म के सबसे सम्मानित शहीदों में से हैं। मुगल सैनिकों ने औरंगजेब (1704) के आदेश पर आनंदपुर साहिब को घेर लिया। गुरु गोविंद

Birthday Special: रफ़ी साहब की आवाज का जादू आज भी कायम है

एक बार रफ़ी साहब और उनके बड़े भाई सहगल को सुनने आकाशवाणी गए थे जहां किसी कारणवश के एल सहगल ने गाने से मना कर दिया, मोहम्मद रफी के कहने

कोरोना से लड़ाई में एक गलती भी पड़ सकती है भारी, सावधान रहकर ही वायरस को हराया जा सकता है

इस समय दुनिया के अनेक देश कोरोना के नए वैरियंट बीएफ.7 से जूझ रहे हैं। भारत में भी कोरोना के नए केस आये हैं लेकिन भारतीयों के चेहरे पर कोई खौफ

राष्ट्रवादी विचारधारा विकास की वाहक है जबकि वामपंथी विचारधारा विनाश की

गुजरात जो चाहे भूकम्प में बर्बाद हो गया परन्तु राष्ट्रवादियों के हाथ में था। वामपन्थियों पर हर चुनावों में बन्दूक की नोक पर सत्ता हथियाने और अलोकतान्त्रिक रूप से सरकारें

राहुल गांधी ने हिंदी के बारे में जो कहा उससे उनकी अंग्रेजी-भक्ति प्रदर्शित हो गयी

देश के सारे नेता या भद्रलोक के लोग अपने बच्चों को अंग्रेजी माध्यम के स्कूलों में इसीलिए भेजते हैं क्योंकि भारत दिमागी तौर पर अभी भी गुलाम है। उसकी सभी

लोकसभा चुनाव से पहले अति पिछड़ों को साधने के लिए मायावती ने बिछाया राजनीतिक जाल

उत्तर प्रदेश में ओबीसी जातियों का 50 फीसदी से ज्यादा वोट बैंक है। प्रदेश में 79 ओबीसी जातियां हैं, इनमें भी गैर यादव जातियों की बात करें तो करीब 40

अखिलेश और शिवपाल एकजुट होकर समाजवादी पार्टी की किस्मत पलटने में लगे हैं

मैनपुरी उपचुनाव और यादव परिवार की एकजुटता ने भाजपा के समानांतर भविष्य तलाशने वालों की उम्मीद जगा दी है और अगर सपा ने निकाय चुनावों में ठीक-ठाक प्रदर्शन किया तो

कठोर निर्णय लेकर पीवी नरसिम्हा राव ने बदली थी भारत की आर्थिक दिशा

देश में आर्थिक सुधारों के लिए सबसे ज्यादा अगर किसी प्रधानमंत्री को क्रेडिट दिया जाता है तो वो हैं पीवी नरसिम्हा राव… क्योंकि वो ऐसे दौर में देश के प्रधानमंत्री